वक़्त दिखाई नहीं देता है,पर बहुत कुछ देखा देता है l वक़्त खुद केहता है "मैं फिर ना आऊंगा क्या पता मैं तुझे हंसाऊंगा या रुलाऊंगा जीना है तो इस पल को जी ले l"
इस पुस्तक के सभी सह लेखकों ने अपने खूबसूरत रचनाओं से इस पुस्तक को परिपूर्ण किया है और हमें पुरी उम्मीद है की ये पुस्तक आपको भी पसंद आएगा l