यह पुस्तक मेरे ख्यालों का पिटारा है। मेरा मानना है कि इंसान के पास बात करने के लिए घुमा फिरा कर बस 4 ही विषय है और वह है परिवार, प्यार, व्यापार और समाचार। और इन चारों पर ही कविताएं हैं इस किताब में 20 साल की उम्र में मेरा जितना तजुर्बा और समझ है उस सब की कविताएं बनाकर मैंने इस किताब में आप सबके साथ सांझा की है। आशा करती हूँ, आपको पसंद आएगी।