किस्मत नायडू एक हिंदी भाषा के कवि होने के साथ-साथ, दूसरी भाषाओं में भी लिखना पसंद करते हैं। इनकी अधिकतर रचनाएँ हिंदी भाषा में ही हैं। इन्होनें कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी से मास कम्युनिकेशन की हैं। इनका मानना हैं की हर इंसान के अंदर एक ऐसी प्रतिभा होती है जिसको स्वयं खोजना होता हैं और इन्होने अपने अंदर लेखन की प्रतिभा को खोजा जब ये यूनिवर्सिटी में थे।