एक ऐसा रहस्य जो महाभारत के एक ऐसे योद्धा की कहानी जिसे अनन्त जीवन का श्राप श्रीकृष्ण ने दिया था और उसके भावपर्वक मणि को एक गोपनीय जगह पर छुपा दिया था ताकि वह योद्धा फिर से अपनी शक्तियों को प्राप्त न कर सके।
लेकिन आने वाले समय मे इंसान की खोजी मानसकिता और उत्सुकता की वजह से असीरगढ़ के किले में वह मणि इस भौतिक संसार मे वापस आ जाती है ।वह मणि अगर गलत हाथो में गया तो दुनिया को नष्ट कर सकता है; ऐसा मणि जो 5000 वर्षो से पृथ्वी के गर्भ में छुपा हुआ था|
वर्तमान काल
उस मणि को विश्व के पौराणिक अनोखे वस्तुओं के तस्करी करने वाले कुछ शक्तिशाली लोग उसे प्राप्त करना चाहते है।
इसी घटना क्रम में एक परमाणु वैज्ञानिक की मृत्यु एक दुर्घटना में हो जाती है| उसके पोते को मिली गुप्त वस्तुएं और अपने देश और अपने परदादा को जानने की इच्छा उसे भारत ले आती है और उसके पीछे ज़बरदस्त विनाशकारी ताकते लग जाती है और वह और उसके साथ एक रॉ एजेंट अतीत के रहस्यों तथा वर्त्तमान की कुटिल चालों के बीच फँसे हुए हैं।ऐसे में, इसके पहले कि दुनिया अवर्णनीय आतंक की शिकार हो, क्या वह और रॉ एजेंट उस मणि को खतरनाक हाथो में जाने से बचा पायेगे।
कहाँनी
विमलेश्वर प्रसाद
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