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Shabdon ki Udan / शब्दों की उड़ान काव्य संग्रह

Author Name: Vikram Singh | Format: Paperback | Genre : Poetry | Other Details

"शब्दों की उड़ान" एक भावनाओं से परिपूर्ण काव्य संग्रह है, जो जीवन के विविध रंगों, अनुभवों और भावनात्मक क्षणों को सुंदर शब्दों में पिरोता है। इस संग्रह में लेखक ने प्रेम, पीड़ा, आशा, संघर्ष, प्रकृति और आत्मचिंतन जैसे विषयों को गहराई से छुआ है। यह पुस्तक केवल कविताओं का संकलन नहीं, बल्कि एक आत्मीय यात्रा है – जहाँ हर कविता पाठक को एक नए विचार, अनुभूति या दृष्टिकोण से परिचित कराती है।

शब्दों की बुनावट इतनी कोमल और सजीव है कि पाठक स्वयं को हर पंक्ति में समाहित होता हुआ पाता है। चाहे वह एक मनोरंजक कविता हो या समाज पर तीखी टिप्पणी करती कोई छंद, हर कविता अपनी खास पहचान और प्रभाव छोड़ती है।

यह काव्य संग्रह उन पाठकों के लिए है जो शब्दों के माध्यम से आत्मा की आवाज़ सुनना चाहते हैं, और उन उड़ानों का आनंद लेना चाहते हैं जो कल्पना से लेकर यथार्थ तक ले जाती हैं।

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Paperback

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5 out of 5 (2 ratings) | Write a review
Kamlesh Kamlesh

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★★★★★
Bahut hi Shaandaar book. Majdoor, prerna, mamta se bhri hui aasan bhasha me likhi gai kavitayen
Vikram Singh

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★★★★★
Paperback 160

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विक्रम सिंह

विक्रम सिंह का जन्म 10 दिसंबर 1980 को हरियाणा के हिसार जिले के बहबलपुर गांव में हुआ। प्रारंभिक शिक्षा उन्होंने अपने गांव के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय से प्राप्त की। उच्च शिक्षा की ओर अग्रसर होते हुए, उन्होंने हिसार के जाट कॉलेज से स्नातक की डिग्री प्राप्त की और इसके बाद जींद के राजकीय कॉलेज से वाणिज्य में स्नातकोत्तर की उपाधि हासिल की। शिक्षा के प्रति उनकी प्रतिबद्धता उन्हें आगे बढ़ाती रही, जिसके चलते उन्होंने बी ०एड० और यूजीसी नेट की परीक्षाएं सफलता पूर्वक उत्तीर्ण की। इसके अलावा, 2015 में उन्होंने अर्थशास्त्र में भी स्नातकोत्तर डिग्री प्राप्त की । शिक्षण कार्य के प्रति उनका झुकाव 2004 में स्पष्ट हुआ जब उन्होंने अपने गांव के एक छोटे से विद्यालय, न्यू काशी वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय से अपने शिक्षण जीवन की शुरुआत की। उनके समर्पण और ज्ञान ने उन्हें जुलाई 2007 में हिसार के पुलिस पब्लिक स्कूल में स्नातकोत्तर शिक्षक (वाणिज्य) के पद पर नियुक्ति दिलाई। इस विद्यालय में आठ वर्षों तक अपनी सेवाएं देने के बाद, जुलाई 2015 में उन्होंने जवाहर नवोदय विद्यालय नोंगस्टाॅइन, जिला वेस्ट खासी हिल्स, मेघालय में इसी पद पर कार्यभार संभाला। चार वर्षों तक मेघालय में सेवा देने के पश्चात्, 2019 में उनका स्थानांतरण हरियाणा के जवाहर नवोदय विद्यालय, महेंद्रगढ़ में हुआ, जहां वे वर्तमान में शिक्षा क्षेत्र में योगदान दे रहे हैं।

विक्रम सिंह का साहित्य के प्रति रुझान स्नातक शिक्षा के बाद प्रकट हुआ। उन्होंने लेखन की शुरुआत विभिन्न विषयों पर लेख लिखने से की, जो कई प्रतिष्ठित पत्रिकाओं में प्रकाशित हुए। धीरे-धीरे, उन्होंने कविता लेखन की ओर भी कदम बढ़ाया और उनकी रचनात्मक अभिव्यक्ति का परिणाम उनके पहले काव्य संग्रह "जीवन एक दर्पण" के रूप में सामने आया। "शब्दों की उड़ान" उनका दूसरा काव्य संग्रह हैI उनकी कविताएँ जीवन के विविध अनुभवों और संवेदनाओं का सजीव चित्रण प्रस्तुत करती हैं। 

विक्रम सिंह शिक्षा और साहित्य, दोनों ही क्षेत्रों में अपनी अमूल्य सेवाएं दे रहे हैं। उनकी शिक्षण यात्रा और साहित्यिक योगदान न केवल विद्यार्थियों बल्कि पाठकों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत है।

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