इस लघुखंड काव्य की एक और बड़ी विशेषता यह है कि यह खंड काव्य छंद बद्ध है और राम के अन्तर्मन में उठने वाले हर संचारी भाव को ,जो समय-समय पर पानी के बुलबुलों की तरह संचरण करते हैं,उन्हें विनय जी ने क्रमानुसार अनुक्रमणिका में डाला है।यह प्रयास इस काव्य की मौलिक अभिव्यक्ति है ।
डॉ. वीणा शंकर शर्मा
चित्रलेखा,