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Sab kuch aur kuch bhi nahi / सब कुछ और कुछ भी नहीं

Author Name: Kaveri Nandan Chandra | Format: Paperback | Genre : Poetry | Other Details

कावेरी नंदन चंद्रा बताती हैं कि, बोल चाल की भाषा में बात

करें तो, जहाँ हम (हम से मेरा मतलब 'मैं' से है) जीवन इकठ्ठा

कर रहें हैं, उस पात्र में एक सूक्ष्म छिद्र है, जिस में से इकठ्ठा

किया हुआ जीवन रह रह कर, कुछ न कुछ, कभी कभी,

थोड़ा थोड़ा कर के रिस्ता जा रहा है, फिर धीमे-धीमे वो पुनः

इकठ्ठा होता है और सौभाग्यवश उसके रह जाने के साथ ही,

रह जाता है, सुने हुए, देखे हुए, सोचे हुए और समझे हुए जीवन

का एक सूक्ष्म ढेर, हम उस

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Paperback 199

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कावेरी नंदन चंद्रा

कावेरी नंदन चंद्रा एक हिंदी लेखक, कहानीकार, लिरिसिस्ट, स्क्रीनराइटर अथवा फिल्म-मेकर हैं। उन्हें उनकी लिखावट के लिए दो बार गोल्ड मैडल से सम्मानित किया गया है, एवं राष्ट्रीय और विश्व रिकॉर्ड में महिलाओं पे सबसे लम्बी और असाधारण कविता लिखने के लिए नामांकित किया गया है। उन्हें 2019 में साहित्य रत्न तथा 2020 में इंडिया इंस्पिरेशनल विमेंस अवार्ड से सुशोभित किया गया, इसी के साथ सिनेमा और साहित्

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