आज कहीं भी, किसी भी ऑफिस में चले जायें, स्थिति यह है कि हर जगह छल प्रपंच छाया हुआ है, ऐसा लगता है कि ईमानदार व्यक्ति के लिए इस समाज में कहीं भी काम करने के लिए जगह ही नहीं है। इतना ह�
This book is aknoledeged by World Famous Writer Dr. Shashi Tharoor
Translation of famous author Murli Manohar Srivastava's Book
"Abhi To Jeena Shuru Kiya Hai "
By Deepak Danish
This book is aknoledeged by World Famous Writer Dr. Shashi Tharoor
Translation of famous author Murli Manohar Srivastava's Book
"Abhi To Jeena Shuru Kiya Hai "
By Deepak Danish
"मानवता की ऊँचाई का जायजा लेने वाली ये कविताएँ कोमल कविमन की गहरी संवेदना की सघन अभिव्यक्तियाँ हैं। संग्रह में मैत्री, स्नेह और वात्सल्य जैसी मानवीय भावनाओं से परिपूरित अनेक क
अपनी छोटी बड़ी कविताओं के जरिए मुरली मनोहर श्रीवास्तव सच्ची, सादगी भरी और ईमानदार जीवन की बार बार वकालत करते दिखाई देते हैं। वह बार बार मोहब्बत की बातें करत�
“इस डर से नहीं पढता कि इमोशनल न हो जाऊं” सच कहूँ जब मेरे मित्र ऐसा कहते हैं तो सोच में पड़ जाता हूँ। भीतर खुशी भी होती है कि जो कह रहा हूँ वह दिल और दिमाग को चीर कर पढ़ने वाले क�
यह पुस्तक NBT में प्रकाशित मुरली मनोहर श्रीवास्तव के सर्वाधिक पापुलर ब्लाग्स का कलेक्शन है , जिसे रीडर्स ने मोस्ट पापुलर ब्लाग्स की कैटेगरी में ला खड़ा किया है ।
यह ब्ला
सो वह जो आपके दिल तक पहुँच जाता है और जो मैं बिना कहे कुछ कह देता हूँ , बस इसे ही यहाँ ले आया हूँ ।“ कि हम और आप किसी अनजाने रिश्ते में बंधे हैं “ , कि जहां आप मुझे जानते हैं औ�
सभी कहानियाँ मैगजीन में प्रकाशित हैं , पत्रिकाओं का सर्कुलेशन लाखों में है
कहानी का किस्सा खुद में बड़ा दिलचस्प है। इसे सन 2018 के अप्रैल के बाद आए किसी मेल से शुरू करता �
This is
Translation of famous author Murli Manohar Srivastava Book
"Abhi To Jeena Shuru Kiya Hai "
By
Deepak Danish
दिल को छूती कविता की पुस्तक , जो बस सामान्य भाषा में हृदय में उतर जाती है । साहित्य कोई ऐसी बात नहीं है जो किसी खास शब्द और भाषा से जन्म लें । हमारे और आपके भीतर जो भाव हैं उनकी अभिव्�
यह पुस्तक नवभारत टाईम्स , राष्ट्रीय सहारा , हिंदुस्तान दैनिक सहित विभिन्न पत्र पत्रिकाओं में प्रकाशित मेरे व्यंग्य का संकलन है ।
सभी रचनायें वैसे तो देश काल परिस्थिति के अनुर�
बड़ी खामोशी से गुजर रही थी जिंदगी , कि किसी ने जैसे वक्त के सीमित होंने का अहसास करा दिया। बस गुजरते समय को पंख लग गए और जिंदगी में ठहराव आ गया। दोनों एक दूसरे के विरोधाभ
सम्भावना कविता संग्रह सन 2018 में प्रकाशित हुआ था । इस कविता संग्रह को दैनिक जागरण व लमही द्वरा सन 2018 में प्रकाशित श्रेष्ठ साहित्यिक पुस्तकों में शामिल किया गया है । इस पुस्तक की सम�
यह पुस्तक सन 2000 में प्रकाशित हुई है । इस पुस्तक का प्रथम संस्कारण प्रकाशित होते ही पुस्तक पापुलर हो गई थी । शीर्षक रचना सत्य जीतता है अनेक बार विभिन्न मंच पर पढ़ी गई व सराही गई है&n
Sambhavna is an individual’s deep probing into his own psyche and his responses to various stimuli in his environment. Hence at one level it is personal and yet it’s brilliance lies in the universality of its appeal. The reader finds himself reflected in many of the poems like The Distance, The Idealistic Mask, Tears etc.
I felt the powerful draw to the poems as I read them in Hindi first. Mr. Murli is a prolific writer no doubt, but
पहली कहानी जहां परिवार और समाज में स्त्री के अस्तित्व की खोज है, वहीं दूसरी कहानी सीधे-सीधे होम आइसोलेशन में लेखक की आपबीती लगती है। आइसोलेशन में कथा नायक ने अपने आपको पढ़ा। वह घ�
जिंदगी क्या देती है , जिंदगी क्या क्या दे सकती है ! और जिंदगी कितनी बड़ी है ---
जिंदगी क्या देती है - जैसे ही हम खुद को देखते हैं इसका पता लग जाता है । जिंदगी क्या दे सकती है
हिन्दी अकादमी दिल्ली द्वारा प्रकाशित ' सत्य जीतता है ' व दैनिक जागरण द्वारा सन 2017 की सर्वश्रेष्ठ साहित्यिक पुस्तकों में शामिल "संभावना" के पश्चात यह मेरा तीसरा कविता संग्रह है । स�
यह पुस्तक नवभारत टाईम्स , राष्ट्रीय सहारा , हिंदुस्तान दैनिक सहित विभिन्न पत्र पत्रिकाओं में प्रकाशित मेरे व्यंग्य का संकलन है ।
सभी रचनायें वैसे तो देश काल परिस्थिति के अनुर�
गूगल झूठ नहीं बोलता
आज लिखते हुये मेरी आँखों में आँसू हैं , जिन्हें अभी मैंने अपनी हथेलियों से पोंछा है । यह आसूँ न खुशी के हैं न दर्द के , शायद आनंद के हों अभी आसुओं की परिभाषा क�
ट्रेनिंग में समय लग रहा था उसे जाने का उतावलापन भी था । समय तो लगा ट्रेनिंग पूरी होंने में , मुझे लगा आज यह अपने बच्चे का जन्मदिन मनाने जाना चाहती है लेकिन जा नहीं पा रही है मैं उस
उम्मीद
रोज इस उम्मीद के साथ उठता हूँ,
आज दुनियां बदल जाएगी।
रोज दुनियां बदल जाती है,
उम्मीद नहीं।
हौसला
मुश्किलें
कभी खत्म नहीं होंगी,
हौसला है ,