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Subrat SaurabhAuthor of Kuch Woh Pal“खुली आंखों के सपने” एक कविता संग्रह है। कविताएं कहानी बताती है,वस्तुत: कहानी के कुछ किस्से बताती है, उन किस्सों की भी अपनी एक कहानी होती है और वही कहानी उन किस्सों को यादगार बनाती है,कविता पड़ो उन किस्सों के पीछे की कहानी समझने के लिए”।
जीवन के हर पड़ाव में हम जो भाव जी रहे होते है,जो अनुभव करते है उनको अल्फाज देने के कोशिश की गई है। यह अनुभूतियां सिर्फ कवि की बल्कि हर उस इंसान कि है जो खुद को संकलित कविताओं से जोड़ पाता है। जीवन,इसे कुछ हद तक खुशी से जीने के लिए एक अलग दृष्टिकोण मात्र की आवयश्कता होती है,हमे सकारात्मक तरीके से लागू करते रहना चहिए।
संकलित कविताएं बहुत सरल शब्दों ओर कुछ मुक्त छंद में लिखी गई है,ताकि आसानी से समझ आ सके।
कृष्णा शर्मा
कृष्णा शर्मा, उम्र 23 साल,का जन्म राजस्थान के एक छोटे से गाँव ढाढरिया बनरोतान में हुआ था। वह पश्चिम बंगाल के नलहाटी में पली-बढ़ी। वह कहती हैं-
The place of birth, the place of learning
Can’t weigh out in a weighing scale
Both are loved, both are mine
One was missed, one will be missed.
उन्हें नई भाषाएं सीखने, कविता पढ़ने, साहित्य पढ़ने में रुचि है। उन्होंने शौक के तौर पर लिखना शुरू किया लेकिन बाद में उनका चाव बड़ गया। वह एक अंग्रेजी साहित्य की छात्रा है, हिंदी और अंग्रेजी दोनों में लिखती है। भावनाओं को व्यक्त करने का सबसे सुंदर माध्यम है कविता।
खुली आँखों के सपने उनकी पहली कविता पुस्तक है।
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