'प्रीती की परछाईंया' कहानी में सभी घटनाएँ, पात्र, स्थान और घटनाएँ पूरी तरह से काल्पनिक हैं और इनका किसी वास्तविक व्यक्ति, घटना या स्थान से कोई लेना-देना नहीं है।
इस बुक में प्रकाशित कहानियों और इस पर व्यक्त की गई राय के लिए कहानीकार पूरी तरह से जिम्मेदार होंगे। किताब मुफ्त पढ़ने के लिए उपलब्ध है लेकिन मुफ्त में नहीं। बेशक आप हमें अपनी बहुमूल्य प्रतिक्रिया मूल्य के रूप में दे सकते हैं। अपने अमूल्य सुझाव भी अवश्य दें।
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