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"It was a wonderful experience interacting with you and appreciate the way you have planned and executed the whole publication process within the agreed timelines.”
Subrat SaurabhAuthor of Kuch Woh Palदिल दश्त, लेखक द्वारा प्रकाशित की गई पाँचवी पुस्तक है। इसके पहले लेखक की 'दिल से', 'दिल विल', 'गल्लां दिल दी' और अंग्रेजी संस्करण 'माई दिल गोज़' पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी हैं। दिल दश्त पुस्तक लेखक के विचारों से ओतप्रोत है, जो विभिन्न लेखों के अनूठे समागम की पेशकश करती है। यह पुस्तक राजनीति, शिक्षा, प्रेरणा, समाज, संस्कृति और व्यवसाय जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर आधारित है। दिल दश्त के लेख समाज की उधेड़-बुन, देश में शिक्षा क्षेत्र में बदलाव की जरुरत, प्रेरणादायी जीवन, राजनीतिक उठा-पटक और व्यापार आदि को नई दिशा देने जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर प्रकाश डालते हैं।
दिल दश्त को समाज के प्रति लेखक के अनूठे विचारों और दुनिया को देखने के नज़रिए को पाठकों के सामने पेश करने के उद्देश्य से प्रकाशित किया गया है। समाज को लेकर अलग नज़रिया रखने वाले करोड़ों लोग, जो अपनी बात को शब्दों में नहीं पिरो पाते हैं, यह पुस्तक उनके विचारों को जाग्रत करने का काम बखूबी करती है। बात शिक्षा की हो या आधुनिक दुनिया में इंसानियत के बदलते रवैये की, विधानसभा चुनाव की सरजमीं में उथल-पुथल की हो या व्यवसाय को सफलता के लिए नए तरीकों को अपनाने की, पूरी दुनिया में प्रसिद्ध भारत की सदियों से चली आ रही संस्कृति को चक्की में पिसते देखने की हो या विभिन्न विचारधाराओं की आड़ में धर्मों के घूटते हुए दम की, इस पुस्तक में शामिल हर एक क्षेत्र के संबंधित लेख भावनाओं और विचारों के साथ बेहद खूबसूरती से पिरोए गए हैं। समाज को एक नई दिशा देने के लिए तत्पर यह पुस्तक अपने विशिष्ट लेखों के माध्यम से पाठकों के दिलों को गहराई से छू लेने का वादा करती है।
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अतुल मलिकराम एक भारतीय राजनीतिक रणनीतिकार, पीआर कंसल्टेंट, लेखक, समाजसेवी और एंगर मैनेजमेंट एक्सपर्ट हैं। सन् 1969 में मध्य प्रदेश के ग्वालियर शहर में एक बिज़नेस क्लास परिवार में जन्मे अतुल मलिकराम ने 1999 में एक पीआर पेशेवर के रूप में अपना करियर शुरू किया और वर्ष 2006 में पीआर 24x7 की नींव रखी। पिछले कुछ वर्षों में भारतीय राजनीतिक पृष्ठभूमि, खासकर मध्य प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़ और उत्तर प्रदेश जैसे हिंदी भाषी राज्यों में, उन्होंने अपनी अलग छवि विकसित की है। उनकी मध्य प्रदेश में सिंधिया खेमे के बीजेपी में शामिल होने से लेकर, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में कांग्रेस के कमान संभालने जैसी भविष्यवाणियाँ सही सिद्ध हुई हैं।
वे 'दिल से', 'गल्लां दिल दी', 'दिल विल', 'माई दिल गोज़' और 'दिल दश्त' के लेखक हैं। एंगर मैनेजमेंट एक्सपर्ट के रूप में उन्होंने इंदौर शहर में देश के पहले एंगर मैनेजमेंट कैफे 'भड़ास' की शुरुआत की। बुजुर्गों के प्रति सामाजिक नजरिए को एक सकारात्मक दिशा देने के उद्देश्य से उन्होंने इंदौर शहर में तीन डे केयर सेंटर्स की शुरुआत की, जो उनके संरक्षण में स्थापित सामाजिक संस्था 'बीइंग रेस्पॉन्सिबल' के तहत संचालित हो रहे हैं। साथ ही, गर्मी में प्यास से तड़पते पक्षियों के लिए #दानापानी अभियान के तहत हजारों की संख्या में मिट्टी के सकोरे और ज्वार-बाजरे के दाने वितरित किए गए। इसके अतिरिक्त, #नंगेपैर अभियान के तहत धूप में नंगे पैर घूमते जरूरतमंद लोगों को चप्पल और टोपियाँ वितरित की गईं।
सामाजिक परिवर्तन लाने में उत्कृष्ट भूमिका निभाने के लिए उन्हें, प्रतिष्ठित 'गॉडफ्रे फिलिप्स रेड एंड व्हाइट गोल्ड अवॉर्ड' से सम्मानित किया जा चुका है। अतुल मलिकराम, भविष्य की योजनाओं के तहत, सतत विकास लक्ष्यों के लिए #2030काभारत अभियान के अंतर्गत, शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल व खेल की दिशा में विभिन्न योजनाओं पर कार्य कर रहे हैं
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