Share this book with your friends

Baal-Aaeena / बाल-आईना Baal-Kavita

Author Name: Rahman Bandvi, Vimal Faridabadi | Format: Paperback | Genre : Poetry | Other Details

प्रस्तुत पुस्तक भारत के विभिन्न राज्यों के लेखकों एवं कवियों की स्वतंत्र अभिव्यक्तियों का एक संकलन है, जो पाठकों व आम जनता को बाल-काल एवं बचपन की संवेदनाओं को जागृत करने का एक प्रयास मात्र है, जिससे हम सभी इस ख़ास दिन पर अपने बाल-काल एवं बचपन को याद करने की दिशा में सार्थक प्रयास कर कर सकें। समस्त प्रकाशक एवं संपादक मंडल द्वारा इस पुस्तक को त्रुटिरहित बनाए रखने का पूरा प्रयास किया गया है। 

Read More...
Paperback
Paperback 180

Inclusive of all taxes

Delivery

Item is available at

Enter pincode for exact delivery dates

रहमान बाँदवी, विमल फरीदाबादी

अब्दुल रहमान पुत्र स्व. श्री अब्दुल अजीज खान बाँदा जिले के रहने वाले हैं इसलिए रहमान बाँदवी नाम लिखते हैं। ये यांत्रिक अभियंता हैं जो अभी सहायक परियोजना अभियंता के पद पर कार्यरत हैं व साथ ही प्रकाशक के रूप में भी कार्य कर रहे हैं। पूर्व क्षेत्र में बेहतरीन कार्य हेतु विभागीय सरकारी अधिकारियों द्वारा प्रशंसा पत्र मिला। इन्होंने अपनी पुस्तक "चल क़लम" व "रंग-ए-जिंदगी" को लिखा व कई संकलनों को संकलित किया जिनके कई ई-प्रमाण पत्र प्राप्त किए जिनमें कई रचनाएँ कलाम वर्ल्ड रिकॉर्ड, ओ.एम.जी. बुक ऑफ रिकॉर्ड, वज्र वर्ल्ड रिकॉर्ड आदि में भी शामिल हुईं ।कई सम्मान जैसे अंतरराष्ट्रीय मातृ दिवस सहित्य सम्मान, भारतीय काव्य गौरव सम्मान , काव्य विभूषण सम्मान, एकलव्यंम शिक्षक सम्मान आदि से भी सम्मानित किया गया। इनकी प्रमुख रचनाएँ क्रमशः माँ का आँचल, पिता को भी प्यार होता है, अज़्मत-ए-वालिदैन, हर लम्हा याद आएगा, कोरा कागज़ सा जीवन इत्यादि।

विमल प्रकाश गौतम (उर्फ विमल फरीदाबादी) पुत्र स्व. श्री बाल किशन, जो कि बतौर सहायक प्रोफेसर, राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, फरीदाबाद में कार्यरत हैं और कविता लिखने के शौकीन हैंI इनकी "कविता 'ए' तल्ख़" नामक पुस्तक 2020 में ब्लूरोज़ नामक प्रकाशन द्वारा प्रकाशित की गयी है, जिसने पाठकों के मन में एक विशेष स्थान बनाया हुआ है। इसके अतिरिक्त 04 अन्य पुस्तकें जो कि इनके विषय शारीरिक शिक्षा से सम्बंधित हैं, वे भी अन्य विभिन्न प्रकाशकों द्वारा प्रकाशित की जा चुकी हैं। 
कविताओं के मंचों एवं प्रकाशकों द्वारा कई बार विमल फरीदाबादी को सम्मानित किया जा चुका है जिसके लिए वे अपनी लेखनी सहित सभी पाठकों के आभारी हैं।

Read More...

Achievements